लिखना भी बंद कर दिया मैंने
जबसे तुम्हें सोचना बंद कर दिया मैंने
हालात बदलीं तो मैं भी बदल गया
बात जब थोड़ी आगे बढ़ी तो
ज़ज्बाती भी होना बंद कर दिया
मैंने हिमाक़त की भी तो मामूली सी
क़ुर्बतों में फ़ासलें भी रखी तो मामूली सी
यादाश्त में आना भी बंद कर दिया मैंने
जबसे तुम्हें सोचना बंद कर दिया मैंने
जीना भी बंद कर दिया मैंने।
नितेश वर्मा
जबसे तुम्हें सोचना बंद कर दिया मैंने
हालात बदलीं तो मैं भी बदल गया
बात जब थोड़ी आगे बढ़ी तो
ज़ज्बाती भी होना बंद कर दिया
मैंने हिमाक़त की भी तो मामूली सी
क़ुर्बतों में फ़ासलें भी रखी तो मामूली सी
यादाश्त में आना भी बंद कर दिया मैंने
जबसे तुम्हें सोचना बंद कर दिया मैंने
जीना भी बंद कर दिया मैंने।
नितेश वर्मा
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